कोरियन (Korea) और भारतीय कंपनी ने हाथ मिलाया
नई दिल्ली। कोरियाई (Korea) और भारतीय कंपनी ने एक रणनीतिक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किया है। इसका उद्देश्य भारतीय बाजार में उन्नत कोरियाई चिकित्सा उपकरणों और आधुनिक चिकित्सकीय तकनीकों को पेश करना है।
एस्सेलबायो लिमिटेड (Korea) के सीईओ मून सांग-हो ताइपेयोंग सियोल अस्पताल (भारत) के रेजुआ एनर्जी सेंटर एलएलपी और एवरग्रीन वेंचर्स के साथ एक समझौता किया है। एक्टसेलबायो रक्त कोशिका सक्रियण उपकरणों को विकसित और वितरण करती है।
महत्वपूर्ण माना जा रहा है समझौता
इस समझौते को भारतीय बाजार के लिहाज से बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है। इससे भारत में उन्नत चिकित्सा प्रौद्योगिकी और नैदानिक विशेषज्ञता को एकीकृत करते हुए उन्नत कोरियाई (Korea) चिकित्सा उपकरणों के निर्यात का मार्ग प्रशस्त होगा। जानकारी के मुताबिक, एस्सेलबायो के रक्त कोशिका सक्रियण उपकरण ने पारंपरिक तकनीकी सीमा से आगे बढकर पीआपी (प्लेटलेट-रिच प्लाज़्मा) उपचार क्षेत्र में उन्नत तकनीकों के रास्ते खोल दिए हैं। मुंबई के आयुर्वेदिक चिकित्सा संस्थान, रेजुआ एनर्जी सेंटर एलएलपी, एक्यूपंक्चर, कपिंग, हाइड्रोजन थेरेपी और प्राण थेरेपी जैसी चिकित्सा प्रदान करती है।
तैप्योंग सियोल अस्पताल के निदेशक (सीईओ) डॉ. यी सांग-गु ने व्यक्तिगत रूप से रेजुआ प्रतिनिधिमंडल के लिए अस्पताल का दौरा किया। जिसमें ऑक्सीजन थेरेपी, हाइड्रोजन थेरेपी और ईएमएस (इलेक्ट्रो-मस्क्युलर स्टिमुलेशन) सिस्टम को प्रदर्शित किया गया। प्रतिनिधिमंडल ने आयुर्वेदिक अवधारणाओं के साथ संभावित संगतता को देखते हुए गहरी रुचि व्यक्त की और दोनों संस्थानों के बीच गहन शैक्षणिक आदान-प्रदान का प्रस्ताव रखा।
भारत में निर्बाध निर्यात का खुलेगा रास्ता
मुंबई में व्यवसाय विकास और वित्त पोषण को बढ़ावा देने के लिए स्थापित एवरग्रीन वेंचर्स के सीईओ गौरव कुमार ने चार-पक्षीय एमओयू के तहत शिक्षा, प्रशिक्षण, चिकित्सा उपकरण खरीद, एलसी खोलने, नियामक अनुमोदन और सीमा शुल्क निकासी के लिए व्यापक समर्थन प्रदान करने के लिए प्रतिबद्धता जताई है। जो यह सुनिश्चित करेगा कि कोरियाई चिकित्सा उपकरणों और प्रौद्योगिकियों को अलग-अलग कार्यान्वयन अनुबंधों की आवश्यकता के बिना भारत में निर्बाध रूप से निर्यात किया जा सके।
कारोबार को मध्य-पूर्व और दक्षिण-पूर्व एशिया में भी विस्तारित करने की योजना
इस समझौते के साथ, एस्सेलबायो ने 1.4 बिलियन की आबादी वाले भारतीय बाजार में विस्तार करने के लिए एक ठोस आधार तैयार किया है। कंपनी अपने कारोबार को मध्य पूर्व और दक्षिण पूर्व एशिया में भी विस्तारित करने की योजना बना रही है।
इसके अतिरिक्त, डोंगबैंग मेडिकल के एक्यूपंक्चर और कपिंग उपकरणों जैसे निर्यात समझौतों की हालिया सफलता आयुर्वेदिक और कोरियाई पारंपरिक चिकित्सा के बीच तालमेल को उजागर करती है। इन सहयोगों से कोरियाई ओरिएंटल चिकित्सा के वैश्वीकरण में महत्वपूर्ण योगदान मिलने की उम्मीद है।