Thursday, March 28, 2024
HomeAnkylosing Spondylitis... तो इसलिए Ankylosing Spondylitis में होता है आंखों में दर्द

… तो इसलिए Ankylosing Spondylitis में होता है आंखों में दर्द

Join Whatsapp Channel Join Now
Join Telegram Group Join Now
Follow Google News Join Now
  • इस ऑटोइम्यून स्थिति वाले लगभग 35% लोग होते हैं यूवेइटिस से प्रभावित

नई दिल्ली, टीम caas india : क्या आप Ankylosing Spondylitis (AS) से पीडित हैं और आपकी आंखों में दर्द की समस्या है? अगर ऐसा है, तो आपको सर्तक हो जाने की जरूरत है। AS एक प्रकार का सूजन से संबंधित गठिया है। इसमें स्टिफनेश, थकान और दर्द का अनुभव होता है। ऑटोइम्यून की यह स्थिति आंखों में भी सूजन का कारण बन सकती है। इसे चिकित्सकीय भाषा में यूवेइटिस (uveitis) कहते हैं।

AS वालों को क्यों होता है आंखों में दर्द ?

 Ankylosing Spondylitis (AS)  से पीडित मरीजों को आंखों में दर्द क्यों होता है, इस सवाल का जवाब पूरी तरह मेडिकल साइंस के विशेषज्ञों के पास भी नहीं है। जिस तरह AS क्यों होता है, इसका जवाब आजतक ढूढा नहीं जा सका है। ठीक उसी तरह AS के मरीजों को यूवेइटिस (uveitis) क्यों होता है, इसका कारण भी स्पष्टतौर पर ज्ञात नहीं है। नेत्र रोग विशेषज्ञ और सर्जन डॉ. ऋतु अरोडा के मुताबिक Ankylosing Spondylitis (AS) जैसी ऑटोइम्यून स्थितियों के साथ, आपका शरीर अपने ही ऊतक के खिलाफ काम करने लगता है।

... तो इसलिए Ankylosing Spondylitis में होता है आंखों में दर्द
… तो इसलिए Ankylosing Spondylitis में होता है आंखों में दर्द | Photo : Pixabay
विशेषज्ञों को लगता है कि यूवेइटिस के मामले में भी कुछ ऐसा ही हो सकता है। यह भी संभव है कि इस समस्या के पीछे कोई रोगजनक हो, जो शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली (immune system) को अपने ही शरीर के खिलाफ हमलावर होने के लिए प्रेरित करता हो।
AS की तरह ही एचएलए-बी27 (HLA-B27) नामक एक निश्चित जीन और यूवेइटिस (uveitis) के बीच कोई लिंक भी हो सकता है। जिसके कारण एक ही रोगी में एंकिलोज़िंग स्पोंडिलिटिस और यूवेइटिस दोनों की मौजूदगी रहती है।आंकडों की अगर बात करें तो एंकिलोज़िंग स्पॉन्डिलाइटिस (AS) वाले 25% से 35% व्यक्तियों में किसी न किसी प्रकार का यूवेइटिस की समस्या पाई जाती है। यूवेइटिस आमतौर पर एक समय में केवल एक आंख को प्रभावित करता है। हालांकि, दोनों आंखों में एक साथ लक्षण होना भी संभव है।

कई प्रकार के होते हैं यूवेइटिस:

एैनटीरियर यूवेइटिस (Anterior uveitis) :

यह आईरिस सहित आंख के सामने के हिस्से को प्रभावित करता है। AS वाले लगभग 90% लोग इस प्रकार की यूवेइटिस से पीडित पाए जाते हैं। 

पोस्टीरियर यूवेइटिस (Posterior uveitis) :

यह आंखों के पिछले हिस्से को प्रभावित करता है। जिसमें रेटिना और ऑप्टिक नर्व भी शामिल हो सकता है।

इंटरमीडिएट यूवेइटिस (Intermediate uveitis) :

यूवेइटिस का यह प्रकार आपके vitreous पर अटैक करता है और लेंस और रेटिना के बीच मौजूद तरल पदार्थ को भी प्रभावित करता है। 

पैनुवेइटिस (Panuveitis) :

यूवेइटिस का यह प्रकार आंख के हर हिस्से को प्रभावित करता है। यह सबसे गंभीर प्रकार है।

यूवेइटिस के लक्षण : 

लालपन
सूजन
सूजन और जलन
दर्द
धुंधली दृष्टि
प्रकाश के प्रति संवेदनशीलता
आपकी दृष्टि में बढ़े हुए फ्लोटर्स या धब्बे
दृष्टि में कमी

समय रहते उपचार कराएं : 

यूवेइटिस का अगर समय रहते उपचार नहीं कराया गया, तो यह समस्या आपकी दृष्टि को नुकसान पहुंचा सकती है और संभावित रूप से अंधेपन का कारण भी बन सकती है। अधिक उम्र के मरीजों में यूवेइटिस मोतियाबिंद या ग्लूकोमा विकसित होने का कारण बन सकता है। अगर आप AS से पीडित हैं और पहले से ही आपको आंखों से संबंधित किसी प्रकार की समस्या है, तो तत्काल इसकी जानकारी अपने चिकित्सक को दें। जानकारी होने पर आपके चिकित्सक AS के साथ यूवे​इटिस का भी उपचार शुरू करेंगे। शुरूआती अवस्था में ही यदि यूवेइटिस का उपचार शुरू कर दिया जाए तो इसके उभरने की संभावना को कम किया जा सकता है। यह समस्या कुछ अंतराल पर या कई बार लंबे समय तक मरीजों को प्रभावित करताी है। 

उपचार के विकल्प : 

यूवेइटिस के उपचार के विकल्पों में कॉर्टिकोस्टेरॉइड्स के साथ एंटी-इंफ्लेमेटरी आई ड्रॉप या आई ड्रॉप शामिल हो सकते हैं।इसके अलावा नॉनस्टेरॉइडल एंटी-इंफ्लेमेटरी ड्रग्स (NSAIDs) या रोग-संशोधित एंटी-रूमेटिक ड्रग्स (DMARDs), बायोलॉजिक थेरेपी का भी इस्तेमाल चिकित्सकीय परामर्श के साथ किया जा सकता है। इन दवाओं बिना चिकित्स्कीय परामर्श के उपयोग करना खतरनाक साबित हो सकता है।

Read : Latest Health News | Breaking News | Autoimmune Disease News | Latest Research |  on  https://caasindia.in | caas india is a Multilanguage Website | You Can Select Your Language from Social Bar Menu on the Top of the Website 

नोट: यह लेख मेडिकल रिपोर्टस से एकत्रित जानकारियों के आधार पर तैयार किया गया है।

अस्वीकरण: caasindia.in में प्रकाशित सभी लेख डॉक्टर, विशेषज्ञों व अकादमिक संस्थानों से बातचीत के आधार पर तैयार किए जाते हैं। लेख में उल्लेखित तथ्यों व सूचनाओं को caasindia.in के पेशेवर पत्रकारों द्वारा जांचा व परखा गया है। इस लेख को तैयार करते समय सभी तरह के निर्देशों का पालन किया गया है। संबंधित लेख पाठक की जानकारी व जागरूकता बढ़ाने के लिए तैयार किया गया है। caasindia.in लेख में प्रदत्त जानकारी व सूचना को लेकर किसी तरह का दावा नहीं करता है और न ही जिम्मेदारी लेता है। उपरोक्त लेख में उल्लेखित संबंधित बीमारी/विषय के बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श लें।

 

caasindia.in सामुदायिक स्वास्थ्य को समर्पित हेल्थ न्यूज की वेबसाइट

Read : Latest Health News|Breaking News|Autoimmune Disease News|Latest Research | on https://www.caasindia.in|caas india is a multilingual website. You can read news in your preferred language. Change of language is available at Main Menu Bar (At top of website).
Join Whatsapp Channel Join Now
Join Telegram Group Join Now
Follow Google News Join Now
Caas India - Ankylosing Spondylitis News in Hindi
Caas India - Ankylosing Spondylitis News in Hindihttps://caasindia.in
Welcome to caasindia.in, your go-to destination for the latest ankylosing spondylitis news in hindi, other health news, articles, health tips, lifestyle tips and lateset research in the health sector.
RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Latest Article